एईआरबी का लक्ष्य यह सुनिश्चित करना है कि भारत में आयनीकारक विकिरण तथा नाभिकीय ऊर्जा के कारण लोगों के स्वास्थ्य एवं पर्यावरण को किसी भी प्रकार का अवांछित जोखिम न हो ।

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संरक्षा अनुसंधान कार्यक्रम

परमाणु ऊर्जा नियामक परिषद (AERB) का गठन देश भर में नाभिकीय एवं विकिरण संरक्षा के क्षेत्र में नियामक व संरक्षा प्रकार्यों को संपन्‍न करने के लिये नवंबर, 1983 में किया गया था। अपने कार्यक्रम के एक अंग के रूप में नाभिकीय एवं विकिरण संरक्षा अनुसंधान को अनुदान देना व प्रोत्‍साहित करना भी एईआरबी का एक उद्देश्‍य है। एईआरबी विश्‍वविद्यालयों एवं अन्‍य अनुसंधान संस्‍थानों के वैज्ञानिकों को अपनी रूचि की अनुसंधान परियोजनाओं के लिये अनुदान देता है। परियोजनाओं के प्रस्‍तावों की समीक्षा संरक्षा अनुसंधान कार्यक्रम समिति (CSRP) द्वारा की जाती है।

संरक्षा अनुसंधान कार्यक्रम समिति (CSRP)

यह समिति विभिन्‍न संस्‍थानों की अनुसंधान परियोजनाओं के लिये नियम व दिशानिर्देश स्‍थापित करती है तथा उनकी संस्‍तुति, आकलन व मानीटरन करती है। यह समिति विश्‍वविद्यालयो, अनुसंधान संस्‍थाओं एवं व्‍यवसायिक संगठनों से प्राप्‍त आवेदनों की जांच के बाद उनके लिये आर्थिक अनुदान की संस्‍तुति करती है।

एईआरबी की रूचि की परियोजनाओं की सूची
सम्‍मेलन, संगोष्ठियां, सेमिनार तथा कार्यशालायें

विजिटर काउण्ट: 4921832

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अक्सर देखे गए

कार्यालय का पता

परमाणु ऊर्जा नियामक परिषद, नियामक भवन अणुशक्तिनगर,, मुंबई 400094, भारत,

कार्य का समय
9:15 से 17:45 – सोमवार से शुक्रवार

वर्ष के सार्वजनिक अवकाशों की सूची